गीत- १
गामसँ किअए डरै छी
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
सदिकाल गामक चर्च करै छी
राति-दिन प्रशंसो करै छी।
तखन किअए भगै छी
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
बाप-पुरुखाक पुरुषार्थ गाबि-गाबि
छाती-तानि हामी भरै छी
नानी-दादीक खिस्सा-पिहानी
सुना-सुना मोहै छी
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
जइ मातृभूमि ममतासँ
हृदए गंग बहबै छी
गामे-गाम पसरल छै मिथिला
गामेसँ किअए मुरुछल छी,
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
सदिकाल गामक चर्च करै छी
राति-दिन प्रशंसो करै छी।
तखन किअए भगै छी
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
बाप-पुरुखाक पुरुषार्थ गाबि-गाबि
छाती-तानि हामी भरै छी
नानी-दादीक खिस्सा-पिहानी
सुना-सुना मोहै छी
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।
जइ मातृभूमि ममतासँ
हृदए गंग बहबै छी
गामे-गाम पसरल छै मिथिला
गामेसँ किअए मुरुछल छी,
भाय यौ, गामसँ किअए डरै छी।